सन्देश

देश में कहीं न कहीं हर व्यक्ति भ्रष्टाचार या रिश्वतखोरो का शिकार अवश्य हुआ हें, मगर इसका विरोध करने की बजाय सभी ने उसी को नियति मानते हुए आत्मसात कर लिया| अगर आप भी चाहते हें की ये सिस्टम बदले, तो पहल तो करनी ही होगी, तो अब वक्त आ गया हें की, भ्रष्ट हो चुके सिस्टम की शिकायत आप हमसे करे, आप दीजिए हमे कहीं भी हो रहे भ्रष्टाचार, घोटाले या रिश्वतखोर के बारे में जानकारी, हम करेंगे उसको खत्म करने की कोशिश, और अगर आप भी हें तेयार, लड़ने के लिए, और अगर हें साथ तो, हमारी टीम करेगी इसमे आपकी मदद |

अगर आपके पास हें भीलवाडा जिले में या कहीं भी, किसी भी, तरीके के हो रहे भ्रष्टाचार की जानकारी, तो हमारे पास कराये दर्ज अपनी शिकायत | आप चाहे आम आदमी हों, या सरकारी कर्मचारी बेफिक्र रहे, और विश्वास रखे, आपकी पहचान और जानकारी गुप्त रखी जायेगी | (और अगर आप अपनी पहचान नही देना चाहते, तो किसी भी मामले की जानकारी बाय पोस्ट (डाक) द्वारा भी भेज सकते हें|

शिकायत के लिए यहाँ संपर्क करे | अगर आप के पास उस से जुड़े दस्तावेज या अन्य कोई जानकारी हो तो भी भेजे | (मामले के सत्यापन के बाद ही अग्रिम कार्यवाही की जायेगी )

संपर्क करे या लिखे या फोन करे,

अध्यक्ष

(complain against corruption)

Om Kumar Vaishnav

Near Khara Kua, Nagori Mohlla

Gulmandi,Bhilwara (raj.)

mobile no. +91 94686 09984,

office + 91 95490 52649

E-MAIL KRE - kumar.om08@gmail.com


शनिवार, 6 अप्रैल 2013

IAS अधिकारी को ड्यूटी ईमानदारी से करने की मिली सजा ...

सोनिया गांधी के दामाद रॉबर्ट वाड्रा और डीएलएफ के बीच जमीन सौदे को रद कर सुर्ख़ियो में आए हरियाणा
के वरिष्ठ आइएएस अशोक खेमका को फिर से अपनी ड्यूटी ईमानदारी से निभाने का इनाम एक बार फिर एक ओर तबादला के रूप मे दिया गया। खेमका को हरियाणा बीज विकास निगम के प्रबंध निदेशक के पद से हटा दिया गया हैं, ओर अब अभिलेखाकार विभाग में सचिव बनाया है। पिछले 6 महीने के भीतर यह उनका दूसरा और 1 साल में चौथा तबादला है।  खेमका को अपने 21 साल की नोकरी में 44 बार तबादलो का सामना करना पड़ा है।
 इस बार उनका तबादला जर्मनी की एक कंपनी से दवा खरीद के मामले मे अनियमितता उजागर करने के कारण हुआ है, उन्होंने इस कीटनाशक दवा पर कई सवाल खड़े किए, जिसको कृषि विभाग ने नकार दिया था। खेमका को निगम के कर्मचारियों से भी जूझना पड़ा, भ्रष्ट अधिकारियों के कारण फिर से उन्हे तबादले का सामना करना पड़ा हैं, इस से तो यही साबित होता हैं की देश मे ईमानदारों की कोई जरूरत नही हैं उन्हे जानबूझ कर इस तरह परेशान किया जाता हैं, अगर यही हाल रहेगा, तो इसका खामियाजा आम जनता को भुगतना पड़ेगा, आम जनता को आगे आकर ऐसे तबादलो का विरोध करना चाहिए, नही तो इसके नतीजे आम जनता को ही भुगतने पड़ेंगे | 

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